एक भगवान के ए सब नाम हैं |
" हम न तो हिन्दु है , न तो मुस्लिम हैं , न इसाई हैं, न सिख्ख हैं, हम मनुष्य योनी में जनम लेने वाले सौभाग्यशाली जीव हैं और केवल इस मनुष्य योनी में भगवत्प्राप्ति की साधना संभव है" - युगल शरण जी ( कहो न क्या वात ह सेै ) जगदगुरु साधना शिविर.
" कोई भी मज़हब हो, कोई भी धर्म हो सबका धर्मी वस एक ही है, जिसे हिन्दु धर्म में 'ब्रह्य' परमात्मा ' भगवान आदि कहते हैं इस्लाम मे उसी को 'अल्लाह '
कहते हैं, फ़ारसी में खुदा कहते हैं ' 'लाओत्सी' धर्म वाले 'ताओ' कहते हैं,
बौद्ध लोग ' शुन्य' कहते हैं , जैन लोग 'निरंजन' कहते है , सिक्ख लोग ' सत श्री अकाल ' कहते हैं , और अंग्रेज लोग ' गौड' कहते हैं | उसी एक भगवान के ए सब नाम हैं | ये सब उसी एक के अपनी अपनी भाषाओं मे नाम हैं |
- जगदगुरु श्री कृपालु जी महाराज ,
" कोई भी मज़हब हो, कोई भी धर्म हो सबका धर्मी वस एक ही है, जिसे हिन्दु धर्म में 'ब्रह्य' परमात्मा ' भगवान आदि कहते हैं इस्लाम मे उसी को 'अल्लाह '
कहते हैं, फ़ारसी में खुदा कहते हैं ' 'लाओत्सी' धर्म वाले 'ताओ' कहते हैं,
बौद्ध लोग ' शुन्य' कहते हैं , जैन लोग 'निरंजन' कहते है , सिक्ख लोग ' सत श्री अकाल ' कहते हैं , और अंग्रेज लोग ' गौड' कहते हैं | उसी एक भगवान के ए सब नाम हैं | ये सब उसी एक के अपनी अपनी भाषाओं मे नाम हैं |
- जगदगुरु श्री कृपालु जी महाराज ,
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